कोरबा/कटघोरा। कटघोरा वनमंडल के पसान रेंज अंतर्गत ग्राम सरिसमार में इन दिनों सरई पेड़ों की अंधाधुंध कटाई जारी है। ग्रामीणों का आरोप है कि बीते कई दिनों से वन विभाग की नाक के नीचे ‘हरा सोना’ यानी सरई लकड़ी का अवैध कारोबार धड़ल्ले से चल रहा है — और जिम्मेदार अधिकारी सिर्फ आंख मूंदकर तमाशा देख रहे हैं।
स्थानीय लोगों के अनुसार, रात में कीमती सरई लकड़ी की कटाई कर रेंज से बाहर भेजी जा रही है। पूरा खेल ठेकेदारों, ट्रांसपोर्टरों और विभागीय कर्मचारियों की मिलीभगत से संचालित हो रहा है।

‘ पेड़ों की तस्करी’ में विभाग की मिलीभगत के आरोप-
ग्रामीणों ने खुलासा किया कि डिप्टी रेंजर खुद मौके पर पहुंचकर मशीन से कटाई करवाती हैं, साथ में 2–4 कर्मचारी होते हैं जो पूरी प्रक्रिया को अंजाम देते हैं।
लोगों का कहना है — “दिन में पर्यावरण की बात और रात में पेड़ों की सफाई… यही है पसान रेंज का हाल!”
पत्रकारों को ब्लैकलिस्ट कर दी डिप्टी रेंजर! –
जब इस विषय पर डिप्टी रेंजर उषा सोनवानी से संपर्क करने की कोशिश की गई, तो उन्होंने पत्रकारों के नंबर ब्लैकलिस्ट में डाल दिए। सवाल उठता है — अगर विभाग पारदर्शी है, तो सवालों से डर क्यों?
यह रवैया अब जनता और मीडिया दोनों में आक्रोश का विषय बन चुका है।
प्रशासन की चुप्पी पर उठे गंभीर सवाल –
जंगल में खुलेआम हो रही यह कटाई वन संपदा की डकैती से कम नहीं। फिर भी विभागीय अधिकारी अब तक किसी ठोस कार्रवाई से बचते नजर आ रहे हैं।
जनप्रतिनिधियों और पर्यावरण प्रेमियों ने उच्चस्तरीय जांच की मांग करते हुए कहा — “अगर अब भी कार्रवाई नहीं हुई, तो यह लूट आने वाले वक्त में पूरे इलाके के पर्यावरण को खत्म कर देगी।”
Author: Saket Verma
A professional journalist









