—गौरेला-पेंड्रा-मरवाही, 24 मई 2025 – ग्राम पंचायत धनौरा में लोकतंत्र के मंदिर को शर्मसार करने वाली एक चौंकाने वाली घटना सामने आई है। पूर्व सरपंच जोहन सिंह पोट्टाम पर गांव के विकास के नाम पर खुलेआम भ्रष्टाचार और सरकारी धन की लूट का आरोप लगा है।
वर्तमान सरपंच गायत्री बाई की ओर से जिला कलेक्टर को सौंपे गए शिकायती पत्र में दावा किया गया है कि चुनाव हारने के बावजूद जोहन सिंह खुद को अब भी “सरपंच” समझते हुए मनमर्जी कर रहे हैं। सबसे बड़ा सनसनीखेज आरोप यह है कि उन्होंने 22 अप्रैल 2025 को पंचायत के एसडीएफसी बैंक खाते से बिना किसी जानकारी के ₹6,00,000 की मोटी रकम निकाल ली – और वह भी पंचायत सचिव की मिलीभगत से!
यह पैसा ग्राम पंचायत के विकास के लिए था, लेकिन जोहन सिंह ने इसे अपनी निजी जागीर समझ लिया! पंचायत की जानकारी के बिना की गई यह निकासी सीधे-सीधे वित्तीय डकैती कही जा सकती है। गंभीर बात यह है कि कार्यकाल समाप्त होने के बावजूद उन्होंने पंचायत का कार्यभार विधिवत तरीके से नहीं सौंपा, और न ही दस्तावेज व अभिलेख लौटाए। अब सवाल उठता है – क्या जोहन सिंह किसी बड़े खेल का मोहरा हैं? क्या पंचायत सचिव की भी मिलीभगत किसी बड़े घोटाले की ओर इशारा कर रही है?
शिकायत में साफ कहा गया है कि यदि जांच में दोष सिद्ध हुआ तो एफआईआर दर्ज कर पूर्व सरपंच व सचिव के खिलाफ आपराधिक कार्यवाही की जाएगी। अब जिला प्रशासन की जिम्मेदारी बनती है कि वह इस भ्रष्टाचार पर शिकंजा कसते हुए दोषियों को सलाखों के पीछे पहुंचाए, ताकि पंचायतें लूट की नहीं, विकास की पहचान बनें।

Author: Ritesh Gupta
Professional JournalisT